महिलायें हर युग में श्रेष्ठ थी,और श्रेष्ठ रहेंगी-अकीला खान
महिला दिवस पर रखे विचार
सिवनी,08 मार्च । महिलाओं की तुलना मातृभूमि से की गई है,संसार में ईश्वर की सर्वश्रेष्ठ कृति के रूप में महिलाओं को स्थान दिया गया है। प्रेमचंद ने कहा है कि जिस तरह मानव में नारी की श्रेष्ठता की बात कही जाती है,वह उसी तरह है जैसे अंधकार और प्रकाश के बीच होती है। तात्पर्य महिलायें हर युग में श्रेष्ठ थी,और श्रेष्ठ रहेंगी। उक्ताशय की बात महिला दिवस के अवसर पर नेताजी सुभाष चंद्र बोस हॉयर सेकेंडरी शाला में आयोजित कार्यक्रम के दौरान अकीला खान ने व्यक्त किये।
इस अवसर पर कार्यक्रम की अध्यक्षता कर रही श्रीमती शिव ने कहा कि इस कार्यक्रम में मुझे बड़ा मान के जो दायित्व सौंपा गया है,मैने उसकी कभी कल्पना नही की थी। अनेक क्षेत्रों में नारियों ने अपने कार्यो से गौरव बढ़ाया है। वरिष्ठ शिक्षक सुधीर ठाकुर ने कहा कि अक्सर हम यह सुनते है कि शेर शिकार करता है,लेकिन शोध के अनुसार यह बात सामने आई है कि शेरनी शिकार करती है और उस शिकार से प्राप्त भोजन को बच्चों एवं शेर के बीच बांटकर खाती है। यह नारी के लिए गौरव की बात है।
सुधीर ठाकुर ने कहा कि नारी हर युग में पूज्य थी और पूज्य रहेगी। शिक्षक सफीखान ने कहा कि नारी को सदियों से दोयम दर्जा दिया गया है। लेकिन हकीकत यह है कि नारी ही इस संसार की रचना करती है,और इसी से यह संसार चलता है। कार्यक्रम का संचालन शिखा कार्तिकेय ने किया,उन्होंने कहा कि नारी शक्तिरूपा है। और ब्रम्हाण की सारी शक्तियाँ उसमें निहित है। प्राचार्य पीएन बारेश्बा ने कहा कि अनेक प्रसंग सामने आते है जब नारी को अपनी अस्मिता के लिये संघर्ष करना पड़ता है। ऐसे में पुरूष समाज अगर सहयोग करता है तो निश्चित ही नारी का गौरव बढ़ेगा। इस अवसर पर विद्यालय परिवार ने कहा कि महिला दिवस सिर्फ कार्यक्रम तक सीमित नही रहे,बल्कि इसके सुखद परिणाम भी सामने आये। कार्यक्रम में साबिर खान,सोहेला खान,अंजुला भलावी सहित अनेक लोगों ने भी गीत एवं अपनी बात रखी।
हिन्दुस्थान संवाद