जो नाम बताया उसे न रखकर INDIA रख लिया, ना कोई काम ना धाम…गठबंधन पर क्‍यों भड़के नीतीश बाबू

Bihar CM Nitish Kumar holds marathon meeting on law and order | Mint

नई दिल्‍ली । जब सत्ता बदलती है, तो सुर खुद ब खुद ही बदल जाते हैं. कल तक जो लोग साथ गले मिलते थे, दल बदलने के बाद उनकी उंगलियां उठाने लगते हैं. इन दिनों ऐसा ही कुछ बिहार की राजनीति में भी देखने को मिल रहा है। कल तक मुख्यमंत्री इंडिया गठबंधन में शामिल थे. गठबंधन का अहम हिस्सा थे, लेकिन एनडीए में शामिल होने के बाद अब वो इसी गठबंधन और इसके नेताओं पर सवाल उठा रहे हैं।

बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार का कहना है कि इंडिया गठबंधन में शामिल कोई भी नेता कोई काम नहीं कर रहा था. जो भी काम किया मैंने वो उन्होंने ही किया. सीएम ने कहा कि जब गठबंधन बनाया गया था तब उन्होंने इसका नाम कुछ रखने को कहा था, उन्होंने नाम भी बताया था, लेकिन लोगों ने INDIA नाम रख दिया. मुख्यमंत्री ने कहा कि गठबंधन में कोई काम नहीं हो रहा था इसलिए उन्होंने उससे किनारा कर लिया और एनडीए में शामिल हो गए।

‘जहां था वहीं वापस आ गया’

सीएम नीतीश ने कहा कि वो पहले जहां थे अब वापस वहीं आ गए हैं और अब सिर्फ बिहार के विकास के लिए काम करेंगे, पहले भी राज्य के विकास के लिए काम और आगे भी करते रहेंगे. इसके साथ ही नीतीश कुमार ने RJD पर निशाना साधते हुए कहा कि जब बिहार में RJD का राज था तो यहां के हालात बेहद खराब थे, शाम के समय कोई बाहर नहीं निकलता था, लोगों में डर रहता था।

‘JDU ने बिहार के विकास के लिए काम किया’

नीतीश ने कहा कि बिहार के विकास के सारे काम उन्होंने किए. उन्होंने कहा कि जब साल 2006 में JDU की सरकार आई थी तब इलाज के लिए बिहार की जनता को पैसे मुहैया कराए. राज्य में पक्की सड़कें नहीं थीं, लेकिन उनकी सरकार ने हर घर तक पक्की सड़क बनवाई. उन्होंने ये भी कहा कि जब वो केंद्र में थे तब भी बिहार की तरक्की के लिए काम किया. RJD पर तंज करते हुए नीतीश ने कहा कि कि कुछ लोगों को पब्लिसिटी मिलती है।

‘आरोप लगे हैं तो जांच भी होगी’

यही नहीं नीतीश ने RJD प्रमुख लालू यादव और तेजस्वी पर चल रहे केस को लेकर भी हमला बोला. उन्होंने कहा कि इन सभी लोगों पर क्या आरोप हैं सभी लोगों को पता है, आरोप लगे हैं तो जांच भी होगी . आगे क्या होगा वो पता चल जाएगा।

गठबंधन से अलग होकर थामा NDA में हुए शामिल

आपको बता दें कि नीतीश कुमार को ही इंडिया गठबंधन का पुरोधा माना जाता है. उन्होंने ही क्षेत्रीय पार्टियों को एकजुट करने की पहल की थी. लेकिन लोकसभा चुनाव से पहले ही उन्होंने गठबंधन का साथ छोड़कर एनडीए का दामन थाम लिया जिससे गठबंधन को तगड़ा झटका लगा है।

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