अनुकरणीय पहलः कम लागत में किसानों को उन्नत कृषक बनने के गुर बताये विधायक राय ने, कहा आने वाले वर्षो में मेरा सिवनी हब बन जायेगा सब्जी का

सिवनी, 18 नवंबर। हर वर्ग का आदमी किसानी मे उन्नति करेगा तो मेरा क्षेत्र विकास की ओर बढेगा। और लोगों को दूसरो के यहां नौकरी करने की जरूरत नही पडेगी। अच्छी खेती करेगें तो लोगों को रोजगार भी मिलेगा और जिले के लोग जो रोजगार के लिए दूसरे प्रदेश व अन्य जिले जाते है उन्हें आसानी से जिले में रोजगार प्राप्त होगा। और लोग रोजगार के लिए पलायन नही करेगें। हमको खेती को व्यवसाय में कैसे करे यह जाने अगर मेरी विधानसभा क्षेत्र के 100 किसान इस तकनीकी को समझकर खेती करे तो आने वाले समय में 1000 लोग यह खेती करेगें। और मेरा सिवनी सब्जी का हब बन जायेगा यह बात शुक्रवार की दोपहर को सिवनी विधायक दिनेश राय ने लखनादौन स्थित राय कृषि फार्म रानी ताल खेत मे आयोजित किसान सम्मेलन एवं दीपावली मिलन समारोह के दौरान कहीं। और किसानों को दीपावली की शुभकामनाएं दी।


विधायक ने कहा कि हम सब खेती करते आये है हमने मक्का लगाया, सोयाबीन लगाया, गेहूं लगाया , चना लगाया सब फसलें हमने लगाई लेकिन हमने जब मोदी जी को सुना, शिवराज जी के द्वारा बनाई गई इन नीतियों को देखा लेकिन हमकों लगा कि योजनाओं तो बहुत चालू है लेकिन किसानों को फायदा कैसे पहुंचेगा। इन तमाम चीजो को हम जमीनी स्तर पर लाकर दिखायें , यहा पर देखे कि वास्तव में क्या हो सकता है। बहुत से लोगों को कहना है कि आप 25, 50 , सौ एकड वाले किसानोे की बात कर रहे है। हमारे पास पांच एकड , दो एकड , आधा एकड है हम कैसे उन्नत किसान बन जायेगें, हम कैसे कमा लेगें, हमारे यहां तो पानी भी नही है। और अन्य सुविधाएं भी नही है। आपके यहां ड्रिप , स्पिकलर लगा है। आप आधा एकड से भी खेती कर सकते है कोई आवश्यकता नही है कि आप पाईपलाइन से ही पानी दे। आप बाल्टियों से भी पानी दे सकते है खेती में मेहनत बहुत लगती है। किसान कहते है कि सुबह चले गये शाम को चले गये और दिन भर खाली बैठे है। लेकिन हमकों खेती को व्यवसाय में कैसे यह जाने अगर मेरी विधानसभा क्षेत्र के 100 लोग इस इन तकनीकी को समझकर खेती करे तो आने वाले समय में 1000 लोग यह खेती करेगें। और मेरा सिवनी हब बन जायेगा सब्जी का।

आज खेती के लिए , डेयरी फार्म के लिए , सब्जी के लिए , मत्स्य पालन के लिए राज्य एवं केन्द्र सरकार की बहुत सारी योजनाए है। इन योजनाओं का लाभ उठाये किसान यहां पर उन्नत कृषक, कृषि विशेषज्ञ सहित कृषि विकास विभाग , पशु विभाग, उद्यानिकी विभाग , मत्स्य विभाग के अधिकारियों द्वारा विभागीय योजनाओं की जानकारी एवं उन योजनाओं का लाभ कैसे लिया जाये यह बताया जायेगा।


केन्द्र में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की सरकार एवं राज्य में मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की सरकार किसानों से आग्रह कर रही है कि कृषि लाभ का धंधा कैसे बने। पिछले दो वर्षो से हम कोई कार्यक्रम नही कर पा रहे थे इसी को ध्यान में रखते हुए शुक्रवार को लखनादौन स्थित रानी ताल खेत में सिवनी विधानसभा क्षेत्र के किसान भाईयों को किसान सम्मेलन एवं दीपावली मिलन समारोह हेतु आमंत्रित किया गया जिसमें पंजाब,हरियाणा एवं जिले के उन्नत कृषक, कृषि विशेषज्ञ सहित कृषि विकास विभाग , पशु विभाग, उद्यानिकी विभाग , मत्स्य विभाग के अधिकारियों द्वारा विभागीय योजनाओं की जानकारी एवं उन योजनाओं का लाभ लेने व अपने अनुभवों को साझा कर उन्नत कृषि के संबंध में सारगर्भित जानकारी दी गई। इस दौरान किसान भाईयों ने केन्द्र एवं राज्य द्वारा संचालित योजनाओं का लाभ लेने हेतु पंजीयन भी कराया है।
खेती उन्नत हम फसल कैसे निकाल सकते है पैदावार कैसे बढा सकते है और कम लागत में अधिक मुनाफा कैसे कमा सकते है हमें कोई आवश्यकता नही है हम नौकरी करें। हम किसान है हमारे पास जमीन है उसमें हम पैदावार को बढाकर व्यवसाय जैसा कार्य कर सकते है।

समन्वित खेती करने से किसान भाईयों का सामाजिक और आर्थिक स्तर बढेगा- उपसंचालक कृषि
कृषि विकास विभाग के उपसंचालक मोरिश नाथ ने बताया कि किसान किसान भाई समन्वित खेती करें। समन्वित खेती से मतलब आपके खेती में मछली पालन भी होना चाहिए, सब्जी की खेती भी होना चाहिए, फूलों की खेती भी होना चाहिए और कृषि भी होना चाहिए। पशुपालन भी होना चाहिए। इससे सामाजिक और आर्थिक स्तर बढेगा। आगे बताया कि किसान भाईयों को प्राकृतिक खेती करना चाहिए। जिसमें किसी भी प्रकार का रासायनिक तत्व न हो।

आप सिर्फ एक एकड में जैविक,प्राकृतिक खेती करें। अपने परिवार के लिये करें। जिससे आपका परिवार स्वस्थ रह सकें। किसान भाई मिश्रित खेती करें। अगर किसी किसान भाई के पास चार एकड जमीन है तो दो एकड मे ंसब्जी , एक एकड में गेहूं और एक एकड मे ंचना लगा ले। इससे यह फायदा रहता है कि अगर कोई प्राकृतिक आपदा ओला, पाला या विपरीत परिस्थिति आ जाती है तो कम से कम एक या दो फसल से फायदा हो जाता है। और एक से नुकसान होता है तो खेती फायदा दे देती है।
आगे बताया कि संतुलित मात्रा में बीज लगाना चाहिए 40 किलोग्राम एक एक एकड के लिए पर्याप्त रहता है किसान 80 किलोग्राम तक बीज डालता है। किसान को 40 किलोग्राम बीज ही डालना चाहिए इससे लागत कम हो जायेगी। वहीं कृषकों को संतुलित मात्रा में उर्वरक का उपयोग करना चाहिए। पांच से 6 बोरी यूरिया एक हेक्टयर के लिए पर्याप्त है। इससे भी किसानों को लागत कम लगेगी। रासायानिक उर्वरकों, कीटनाशकों, के उपयोग से किसानों की उत्पादन लागत बढ जाती है उससे होने वाला उत्पादन मानव स्वास्थ्य के लिये हानिकारक भी है। यदि किसान प्राकृतिक खेती करे तो लागत कम होने के साथ-साथ रसायन मुक्त उत्पादन प्राप्त होगा।

उन्नत कृषक बनने के लिए किसान भाईयों को किसान ही नही रहना है उन्हें उद्यमी भी बनना है- सहायक संचालक उद्यानिकी

उद्यानिकी विभाग की सहायक संचालक श्रीमती डॉ. आशा उपवंशी वासेवार ने बताया कि मछली पालन ,ड्रिप का उपयोग कैसे किया जाता है मल्चिग के उपयोग अपनी खेती में कैसे कर सकते है इस तरह की उन्नत तकनीक की जानकारी मिलने के साथ आपकों उन तकनीको का उपयोग यहां कैसे किया गया है वह भी देख भी सकते है आप और उन तकनीको के उपयोग से किसान कैसे लाभ कमा सकते है। जो किसान भाई कृषि फसलों के साथ-साथ सब्जी , फूलों की खेती कर रहे है उन्हें कृषि फसलों की तुलना में बहुत सारे अतिरिक्त लाभ मिलते है। ऐसे किसान जो कृषि फसलों के साथ , फल, औषधि, सब्जी , मशरूम पालन, मधुमक्खी पालन या फूलों की खेती कर रहे है उन्हें डेढ से दो महीने मे अतिरिक्त आय मिल जाती है।


आगे बताया कि किसानों की आय तब ही बढ सकती है जब किसानों के पास भूमि के रकबे का एक तिहाई भूमि पर उद्यानिकी की फसलों की खेती करें। हमें आसपास के किसान भाईयों का भी विकास करना है यह सोच लेकर हम चलेगें तो बहुत आगे पहुचेगें। और बहुत अच्छी उन्नति करेगें। किसान भाई बहनों की सोच यह है कि घर में जो सबसे कम पढा लिखा व्यक्ति होता है या जो कोई काम नही करता है सिर्फ उसी को खेती करनी चाहिए। यह सोच गलत है आज की नई तकनीक की खेती इस तरह की हो गई है कि जो अच्छे से पढा लिखा समझदार व्यक्ति अगर उन्नत तकनीक का प्रयोग करके खेती करता है तो वह एक नौकरी से ज्यादा पैसा अपनी खेती से कमा सकता है। जिले में यहां बहुत से किसान है जो एक एकड की सब्जी की खेती कर प्रति एकड दो से ढाई लाख रूपये मुनाफा कमा रहे है अगर आपके पास पांच एकड जमीन है जो वर्ष भर आप 10 लाख रूपये से ज्यादा कमा सकते है। क्या एक छोटी-मोटी नौकरी से दस लाख रूपये मिलते है। नही मिलते है। खेती के व्यवसाय में पढे लिखे लोगों को भी आना चाहिए और खेती की तकनीको का उपयोग करके तकनीकी खेती करना चाहिए। किसान को किसान ही नही रहना है उन्हें उद्यमी भी बनना है। किसानों को फसल तो उगाना है लेकिन उन फसलों को कैसे बेचना है यह भी उनका आना चाहिए। बाजार में किस-फसल का दाम किस समय अच्छा रहता है इसका ध्यान देना चाहिए।
आगे बताया कि एक जिला एक उत्पाद के तहत सीताफल की फसल को चयन किया गया है छपारा का सीताफल अपने आप में एक अलग पहचान रखता है जिसको विभाग एवं प्रशासन के द्वारा सिवनी जम्बो सीताफल का ब्रांड नेम दिया गया है। और यहा से जो सीताफल जायेगा उसमें वह लोगों लगकर जायेगा। ताकि सिवनी के सीताफल की पहचान सिवनी के नाम से रहे।


उल्लेखनीय है कि इस दौरान सिवनी विधायक दिनेश राय लोक प्रिय जनप्रतिनिधि होने के साथ कुशल व्यवसायी व उन्नत किसान के रूप किसानों भाईयों को खेती को लाभ का धंधा कैसे बनाये यह गुर बताते नजर आये।


कार्यक्रम मे उन्ननत किसान व जबलपुर से आये कृषि विभाग के अधिकारियों एव कृषि वैज्ञानिकों ने उन्नत कृषि करने के लिए किसान भाईयों को सारगर्भित जानकारी दी।


इस दौरान विधायक दिनेश राय एवं किसान कान्हा राय ने जिले के कलेक्टर डॉ.राहुल हरिदास फांटिग, कृषि विभाग के अधिकारियों व सिवनी विधानसभा के कृषकों को अपने कृषि फार्म का भ्रमण कराया। जहां कृषकों ने आधुनिक तकनीक से की जा रही खेती को देखा एवं उन्नत खेती करने से संबंधित जानकारी प्राप्त की।
इस दौरान कलेक्टर राहुल हरिदास फटिंग ,उपसंचालक कृषि विकास विभाग मोरिशनाथ, उद्यानिकी विभाग की सहायक संचालक श्रीमती डॉ. आशा उपवंशी वासेवार, एडीए जबलपुर श्रीमती रचना शर्मा , बीटीएम आत्मा कृषि विभाग लखनादौन श्रीमती जागृति पांडे , उन्नत कृषक धर्मवीर लोहान(हरियाणा) एवं कृषि विशेषज्ञ , जिले के उन्नत किसान सहित बडी संख्या में सिवनी विधानसभा क्षेत्र के किसानों की गरिमामयी उपस्थिति रही।
हिन्दुस्थान संवाद

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